ज्योतिष विचार के अनुसार 25 अगस्त से 31 अगस्त 2025 के बीच में जन्म लेने वाले बच्चों की भविष्यवाणियां और तिथि अनुसार पूजा पाठ इत्यादि।

25 अगस्त से 31 अगस्त 2025 तक के लिए है, जिसमें प्रत्येक दिन के पंचांग के अनुसार शुभ मुहूर्त और उस दिन जन्म लेने वाले बच्चों की ज्योतिषीय विशेषताओं का विवरण दिया गया है। ज्योतिष के अनुसार, इन दिनों में जन्म लेने वाले बच्चों का भविष्य उनकी राशि, नक्षत्र और महादशा पर आधारित होगा, और कुछ विशेष अक्षरों से नाम रखने पर वे भाग्यशाली हो सकते हैं।


25 अगस्त 2025 (सोमवार)

  • पंचांग: 25 अगस्त, 2025, सोमवार, बंगाली कैलेंडर के अनुसार 8 भाद्र, 1432। सूर्योदय सुबह 5:20 बजे और सूर्यास्त शाम 5:57 बजे। विक्रम संवत 2082 शुक्ल पक्ष द्वितीया तिथि सुबह 11:53 बजे तक रहेगी, जिसके बाद शुक्ल पक्ष तृतीया शुरू होगी।
  • जन्म लेने वाले बच्चे:
    • सुबह 8:29 बजे से पहले: बच्चे की सिंह राशि होगी, क्षत्रिय वर्ण, उत्तरा फाल्गुनी नक्षत्र, नरगण और गो योनि होगी। जन्म रवि (सूर्य) की महादशा में होगा। यदि नाम ‘म’ (Ma) या ‘ट’ (Ta) से शुरू होता है, तो बच्चा भविष्य में भाग्यशाली और परिवार का नाम रोशन करने वाला हो सकता है।
    • सुबह 8:29 बजे के बाद: बच्चे की कन्या राशि होगी, वैश्य वर्ण, उत्तरा फाल्गुनी नक्षत्र, नरगण और गो योनि होगी। जन्म भी रवि की महादशा में होगा। यदि नाम ‘प’ (Pa), ‘ठ’ (Tha), ‘ष’ (Sha) या ‘न’ (Na) से शुरू होता है, तो बच्चा भविष्य में भाग्यशाली और परिवार का नाम रोशन करने वाला हो सकता है।
  • शुभ कार्य: यह दिन अनेक शुभ कार्यों के लिए अच्छा है, जैसे हल्दी, नामकरण, अन्नप्राशन, निष्क्रमण (पहली बार घर से बाहर निकलना), देव प्रतिमा स्थापना, नृत्य और नाटक का आरंभ, व्यापार, फैक्ट्री या कला का आरंभ, गृह पूजा, पुण्यह, हल चलाना, फसल बोना, औषधि लेना या बनाना, शांति-स्वस्त्ययन, गर्भवती महिला के लिए गोद भराई और दीक्षा देना या लेना।

26 अगस्त 2025 (मंगलवार)

  • पंचांग: 26 अगस्त, 2025, मंगलवार, 9 भाद्र, 1432। सूर्योदय सुबह 5:21 बजे और सूर्यास्त शाम 5:56 बजे। विक्रम संवत 2082 शुक्ल पक्ष तृतीया दोपहर 12:53 बजे तक रहेगी, जिसके बाद शुक्ल पक्ष चतुर्थी (गणेश चतुर्थी) शुरू होगी। जो लोग गणेश पूजा करना चाहते हैं, वे 12:53 बजे के बाद कर सकते हैं।
  • जन्म लेने वाले बच्चे: बच्चे की कन्या राशि होगी, वैश्य वर्ण, हस्त नक्षत्र, देवगण और काशर योनि होगी। जन्म चंद्र की महादशा में होगा। यदि नाम ‘प’ (Pa), ‘ठ’ (Tha), ‘ष’ (Sha) या ‘न’ (Na) से शुरू होता है, तो बच्चा भाग्यशाली और परिवार का नाम रोशन करने वाला हो सकता है।
  • शुभ कार्य: विशेष पूजा-पाठ, सीमंतोनयन (गर्भवती महिला के लिए अनुष्ठान) और दीक्षा देना या लेना।

27 अगस्त 2025 (बुधवार)

  • पंचांग: 27 अगस्त, 2025, बुधवार, 10 भाद्र, 1432। सूर्योदय सुबह 5:21 बजे और सूर्यास्त शाम 5:55 बजे। विक्रम संवत 2082 शुक्ल पक्ष चतुर्थी दोपहर 2:20 बजे तक रहेगी, जिसे कुछ लोग सौभाग्य चतुर्थी भी कहते हैं। इसके बाद शुक्ल पक्ष पंचमी शुरू होगी।
  • जन्म लेने वाले बच्चे:
    • सुबह 6:05 बजे से पहले: बच्चे की कन्या राशि होगी, वैश्य वर्ण, हस्त नक्षत्र, देवगण और काशर योनि होगी। जन्म चंद्र की महादशा में होगा।
    • सुबह 6:05 बजे से शाम 7:12 बजे तक: बच्चे की कन्या राशि होगी, वैश्य वर्ण, चित्रा नक्षत्र, देवरी या राक्षसगण और व्याघ्र योनि होगी। जन्म मंगल की महादशा में होगा।
    • शाम 7:05 बजे के बाद: बच्चे की तुला राशि होगी, शूद्र वर्ण, हस्त नक्षत्र, देवगण और काशर योनि होगी। जन्म चंद्र की महादशा में होगा। यदि नाम ‘र’ (Ra), ‘त’ (Ta) या ‘ऋ’ (Ri) से शुरू होता है, तो बच्चा भाग्यशाली और परिवार का नाम रोशन करने वाला हो सकता है।
  • शुभ कार्य: हल्दी, देव प्रतिमा स्थापना, नृत्य और नाटक का आरंभ, व्यापार, फैक्ट्री या कला का आरंभ, ऋण लेना या देना, हल चलाना, फसल बोना, संपत्ति खरीदना या बेचना, औषधि लेना या बनाना, कंप्यूटर बनाना या चलाना और गणेश पूजा।

28 अगस्त 2025 (गुरुवार)

  • পंचांग: 28 अगस्त, 2025, गुरुवार, 11 भाद्र, 1432। सूर्योदय सुबह 5:21 बजे और सूर्यास्त शाम 5:54 बजे। विक्रम संवत 2082 शुक्ल पक्ष पंचमी शाम 4:10 बजे तक रहेगी, जिसके बाद शुक्ल पक्ष षष्ठी शुरू होगी।
  • जन्म लेने वाले बच्चे:
    • सुबह 8:44 बजे से पहले: बच्चे की तुला राशि होगी, शूद्र वर्ण, चित्रा नक्षत्र, देवरी या राक्षसगण और व्याघ्र योनि होगी। जन्म मंगल की महादशा में होगा।
    • सुबह 8:44 बजे के बाद: बच्चे की तुला राशि होगी, शूद्र वर्ण, स्वाति नक्षत्र, देवगण और काशर योनि होगी। जन्म राहु की महादशा में होगा। यदि नाम ‘र’ (Ra), ‘त’ (Ta) या ‘ऋ’ (Ri) से शुरू होता है, तो बच्चा भविष्य में भाग्यशाली और परिवार का नाम रोशन करने वाला हो सकता है।
  • शुभ कार्य: गैर-हिंदू समुदायों के लिए शादी, नामकरण, अन्नप्राशन। सभी समुदायों के लिए नए कपड़े पहनना, देव प्रतिमा स्थापना, शांति-स्वस्त्ययन, व्यापार या कला का आरंभ, औषधि लेना या बनाना, वाहन या पशु खरीदना-बेचना, हल चलाना, फसल बोना और कंप्यूटर बनाना या चलाना।

29 अगस्त 2025 (शुक्रवार)

  • पंचांग: 29 अगस्त, 2025, शुक्रवार, 12 भाद्र, 1432। सूर्योदय सुबह 5:22 बजे और सूर्यास्त शाम 5:53 बजे। विक्रम संवत 2082 शुक्ल पक्ष षष्ठी शाम 6:05 बजे तक रहेगी, जिसके बाद शुक्ल पक्ष सप्तमी शुरू होगी।
  • जन्म लेने वाले बच्चे:
    • सुबह 11:39 बजे से पहले: बच्चे की तुला राशि होगी, शूद्र वर्ण, स्वाति नक्षत्र, देवगण और काशर योनि होगी। जन्म राहु की महादशा में होगा।
    • सुबह 11:39 बजे के बाद: बच्चे की तुला राशि होगी, शूद्र वर्ण, विशाखा नक्षत्र, देवरी या राक्षसगण और व्याघ्र योनि होगी। जन्म बृहस्पति की महादशा में होगा। यदि नाम ‘र’ (Ra), ‘त’ (Ta) या ‘ऋ’ (Ri) से शुरू होता है, तो बच्चा भाग्यशाली और परिवार का नाम रोशन करने वाला हो सकता है।
  • शुभ कार्य: गैर-हिंदू समुदायों के लिए हल्दी, गर्भवती महिला के लिए गोद भराई, नामकरण, अन्नप्राशन, विवाह की तिथि तय करना, नए कपड़े पहनना, पशु या संपत्ति खरीदना-बेचना, फैक्ट्री या कला का आरंभ। सभी समुदायों के लिए औषधि लेना या बनाना, देव प्रतिमा स्थापना, कंप्यूटर बनाना या चलाना, ऋण लेना या देना, नाव बनाना या चलाना, निष्क्रमण, शांति-स्वस्त्ययन और गृह पूजा।

30 अगस्त 2025 (शनिवार)

  • पंचांग: 30 अगस्त, 2025, शनिवार, 13 भाद्र, 1432। सूर्योदय सुबह 5:22 बजे और सूर्यास्त शाम 5:52 बजे। विक्रम संवत 2082 शुक्ल पक्ष सप्तमी रात 8:09 बजे तक रहेगी, जिसके बाद शुक्ल पक्ष अष्टमी (राधा अष्टमी) शुरू होगी।
  • जन्म लेने वाले बच्चे:
    • सुबह 7:05 बजे से पहले: बच्चे की तुला राशि होगी, शूद्र वर्ण, विशाखा नक्षत्र, देवरी या राक्षसगण और व्याघ्र योनि होगी। जन्म बृहस्पति की महादशा में होगा। यदि नाम ‘र’ (Ra), ‘त’ (Ta) या ‘ऋ’ (Ri) से शुरू होता है, तो बच्चा भाग्यशाली हो सकता है।
    • सुबह 7:05 बजे से दोपहर 2:38 बजे तक: बच्चे की वृश्चिक राशि होगी, विप्रो अर्थात ब्राह्मण वर्ण, विशाखा नक्षत्र, देवरी या राक्षसगण और व्याघ्र योनि होगी। जन्म भी बृहस्पति की महादशा में होगा।
    • दोपहर 2:38 बजे के बाद: बच्चे की वृश्चिक राशि होगी, विप्रो अर्थात ब्राह्मण वर्ण, अनुराधा नक्षत्र, देवगण और मृग योनि होगी। जन्म शनि की महादशा में होगा। यदि नाम ‘न’ (Na) या ‘थ’ (Tha) से शुरू होता है, तो बच्चा भाग्यशाली और परिवार का नाम रोशन करने वाला हो सकता है।
  • शुभ कार्य: इस दिन कोई विशेष शुभ कार्य का योग नहीं है।

31 अगस्त 2025 (रविवार)

  • पंचांग: 31 अगस्त, 2025, रविवार, 14 भाद्र, 1432। सूर्योदय सुबह 5:22 बजे और सूर्यास्त शाम 5:52 बजे। विक्रम संवत 2082 शुक्ल पक्ष अष्टमी (राधा अष्टमी) रात 10:04 बजे तक रहेगी, जिसके बाद शुक्ल पक्ष नवमी शुरू होगी। इस दिन गो-पूजा, गौशाला-पूजा और राधा अष्टमी व्रत करना शुभ माना जाता है।
  • जन्म लेने वाले बच्चे:
    • शाम 5:27 बजे से पहले: बच्चे की वृश्चिक राशि होगी, विप्रो अर्थात ब्राह्मण वर्ण, अनुराधा नक्षत्र, देवगण और मृग योनि होगी। जन्म शनि की महादशा में होगा।
    • शाम 5:27 बजे के बाद: बच्चे की वृश्चिक राशि होगी, विप्रो अर्थात ब्राह्मण वर्ण, ज्येष्ठा नक्षत्र, देवरी या राक्षसगण और मृग योनि होगी। जन्म बुध की महादशा में होगा। यदि नाम ‘न’ (Na) या ‘थ’ (Tha) से शुरू होता है, तो बच्चा भविष्य में भाग्यशाली और परिवार का नाम रोशन करने वाला हो सकता है।
  • शुभ कार्य: गो-पूजा, गौशाला-पूजा और राधा अष्टमी व्रत और पूजा।

अतिरिक्त जानकारी और सलाह

बच्चे के स्वस्थ, आज्ञाकारी, भाग्यशाली और परिवार का नाम रोशन करने के लिए केवल जन्म का समय ही नहीं, बल्कि गर्भधारण का समय भी बहुत महत्वपूर्ण है। यदि सही समय पर पति-पत्नी का मिलन हो, तो गर्भ में पलने वाला भ्रूण शुभ होता है। इसके बाद, भले ही डॉक्टर की सलाह पर शुभ मुहूर्त में सिजेरियन डिलीवरी करवाई जाए, तो भी बच्चा निश्चित रूप से स्वस्थ, आज्ञाकारी, बुद्धिमान और हर क्षेत्र में सफल होगा।

और आगे की जानकारी के लिए संपर्क कर सकते हैं।

सिद्धपुरुष डॉ. देवदूत मोबाइल नंबर -7980651708, 9831831442.

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